कॉलेज प्रबंध समिति में अयोग्य राजनीतिक कार्यकर्ताओं पर रोक लगाई जाए

दिल्ली विश्वविद्यालय से संबद्ध दिल्ली सरकार से वित्त पोषित कॉलेजों में प्रबंध समिति न बनने से अनुदान न मिलने का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। नेशनल डेमोक्रेटिक टीचर्स फ्रंट (एनडीटीएफ) के पूर्व अध्यक्ष डॉ ए. के. भागी ने कॉलेजों का अनुदान तुरंत जारी करने की मांग की है। मालूम हो कि इन कॉलेजों का फंड बीते दो माह से अधिक समय से रोका हुआ है। इस कारण कारण कई कॉलेजों में शिक्षकों और कर्मचारियों को दो माह से वेतन नहीं मिला है।


डॉ भागी ने कहा कि दिल्ली सरकार ने पूर्ण वित्त पोषित कॉलेजों की प्रबंध समिति में अपने राजनीतिक कार्यकर्ताओं को नामांकित किया है जो 2012 के कार्यकारी परिषद के प्रस्ताव 51 का उल्लंघन है। जब तक दिल्ली सरकार सभी कॉलेजों का अनुदान पूरी तरह से जारी नहीं करती तब तक उनके भेजे हुए नामों का अनुमोदन ना किया जाए। इस मामले में यूजीसी और मानव संसाधन विकास मंत्रालय को तत्काल हस्तक्षेप करना चाहिए।
मालूम हो कि शुक्रवार को कार्यकारी परिषद की बैठक में प्रबंध समिति मामले को एजेंडे में लाया जा रहा है। डीयू कार्यकारी परिषद सदस्य डॉ वी. एस नेगी ने कहा कि आम आदमी पार्टी के द्वारा अपने राजनीतिक कार्यकर्ताओं का प्रबंध समिति के रूप में नामांकन कराने के लिए अनुदान रोकना न्यायोचित नहीं है।


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